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गुरुवार, 1 नवंबर 2012

भोजपुरी के भूपेन हजारिका हैं भिखारी ठाकुर : कल्पना




मशहूर गायक भूपेन हजारिका हमारे आदर्श रहे हैं। जब भोजपुरी में मैंने गीत गाना शुरू किया तो भूपेन हजारिक को भोजपुरी में खोजने का प्रयास किया। नाम तो बहुत आए परंतु भिखारी ठाकुर ही ऐसे थे जिनका व्यक्तित्व भूपेन हजारिक से मेल खाता था। भिखारी ठाकुर ने समकालीन समाज का चित्रण कर जो नाटक व गीत प्रस्तुत किया वह आज भी उतना ही प्रासंगिक है, जितना तब था। यह बात भोजपुरी की मशहूर गायिका कल्पना पटवारी ने सोमवार को शहर के होटल हेरिटेज में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान कही। अपने प्रारंभिक समय के बारे में चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि उनके पिताजी लोक गायक थे। जब वह पांच वर्ष की थी तो उनके दिमाग में लोक गायकी के बारे में काफी गलत इमेज थी और उसे वह हेय दृष्टि से देखती थी। पिताजी के साथ भूपेन हजारिक से मिलने का मौका मिला। जिसके बाद मैं उनके व्यक्तित्व से काफी प्रभावित हुई और धीरे-धीरे मेरा भी रूझान लोक गायकी की ओर हुआ। असम की होने के बावजूद पिछले दस-बारह वर्षो से लगातार भोजपुरी गीत गा रही हूं। भोजपुरी में छायी अश्लीलता के बारे में चर्चा करते हुए कल्पना ने कहा कि शुरूआती दौर में उन्होंने भी कुछ ऐसे गीतों को गाया परंतु वह उनकी प्री मैच्योर एज में गायी गयी गीते थीं। गीतकार ने जो लिखकर दिया, उसे उन्होंने गाया। परंतु अब भोजपुरी के बारे में अच्छी तरह से समझ है। छठ के गीतों को मैं सिर्फ गाती ही नहीं हूं बल्कि उसमें जीती भी हूं। उन्होंने भिखारी ठाकुर पर आधारित कैसेट के बारे में बताया कि यह बिल्कुल ही अलग तरह का कैसेट है जिसमें भिखारी ठाकुर को श्रद्धांजलि दी गयी है। इस कैसेट ने मारीशस में भी खूब धूम मचाया है। उन्होंने कहा कि भोजपुरी कैसेट सिर्फ पान की गुमटी तक सीमित न रहें, इसके लिए उन्होंने इसे माल्स में भी उपलब्ध कराने की योजना बनायी है। अपनी नयी सीडी आदि शक्ति के बारे में उन्होंने बताया कि यह वैदिक मंत्रों पर आधारित कैसेट है जिसे सुनने के बाद आदमी के अंदर शक्ति का संचार होता है और शांति मिलती है। इस कैसेट को पूनम संगीत के माध्यम से रिलीज किया गया है जिसके गीतकार शंभूनाथ सिंह हैं। इस मौके पर मनोज सिंह, बबलू राही सहित कई अन्य लोग भी मौजूद थे|

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